परिषदीय विद्यालयों में बनेंगे बच्चों के आधार कार्ड, छात्रों के लिए लगेंगे शिविर : असेवित बस्तियों में एक किमी पर खुलेगा प्राथमिक और 800 की आबादी पर होगा जूनियर


📌 परिषदीय विद्यालयों में बनेंगे बच्चों के आधार कार्ड
📌 6 से 18 वर्ष तक के छात्रों के लिए लगाए जाएंगे शिविर
📌 असेवित बस्तियों में एक किलोमीटर पर खुलेगा प्राथमिक विद्यालय
📌 800 की आबादी पर होगा जूनियर हाईस्कूल
📌 राज्य परियोजना निदेशक ने जारी किया आदेश

बेसिक शिक्षा परिषद के अंतर्गत संचालित परिषदीय, अनुदानित व निजी विद्यालयों में अब बच्चों का आधार कार्ड बनाया जाएगा। इसके लिए विद्यालयों में आधार कार्ड शिविर लगाए जाएंगे। जहां 6 से 18 आयु वर्ग के छात्रों के आधार कार्ड बनाए जाएंगे। इस संबंध में बेसिक शिक्षा निदेशक अवध नरेश शर्मा ने बीएसए को आदेश जारी कर दिए हैं।राजधानी में करीब 1900 परिषदीय विद्यालयों के अलावा 41 एडेड व परिषद से मान्यता प्राप्प्त करीब दो हजार विद्यालय संचालित हैं। सरकार ने सभी वर्ग के लोगों का आधार कार्ड अनिवार्य कर दिया है। इसलिए अब इन विद्यालयों में पढ़ने वाले छह से 14 आयु वर्ग के बच्चों तथा 18 वर्ष तक के शेष बच्चों का आधार कार्ड बनाया जाएगा। कार्ड बनने के लिए स्कूलों में कैम्प लगाए जाने के आदेश दिए गए हैं।

आधार कार्ड के लिए राज्य स्तर पर अपर शिक्षा निदेशक (बेसिक) शिविर कार्यालय, जनपद स्तर पर जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी तथा ब्लॉक स्तर पर खंड शिक्षा अधिकारी को नोडल अधिकारी नामित किया गया है। इस कार्य के लिए बीएसए खंड शिक्षा अधिकारियों एवं विद्यालय के प्रधानाचार्यों को अपने स्तर से भी निर्देश जारी करेंगे।बनाना होगा जिले का एक्शन प्लानछह से 18 वर्ष के छात्रों का आधार कार्ड बनाने की समय सीमा वर्ष 2015-16 में तय की गई है। इसलिए विभाग के अफसरों को भारतीय विशिष्ट पहचान प्राधिकरण के क्षेत्र कार्यालय तथा समाज कल्याण निर्माण निगम, गोमती नगर से सपंर्क कर जिले का एक्शन प्लान अनिवार्य रूप से बनाना होगा। इसमें किसी भी तरह की लापरवाही नहीं चलेगी।

भेजनी होगी स्कूलों की सूची
विद्यालयों में आधार कार्ड बनवाने के लिए बेसिक शिक्षा परिषद के सभी परिषदीय, अनुदानित, गैर अनुदानित मान्यता प्राप्त विद्यालयों की सूची भारतीय विशिष्ट पहचान प्राधिकारण क्षेत्रीय कार्यालय गोमती नगर के उप महानिदेशक को तत्काल भेजनी होगी। इसी आधार पर विद्यालयों में शिविर लगाए जाएंगे।

यूनिक आईकार्ड की योजना फ्लॉप
तत्कालीन मायावती सरकार में परिषदीय विद्यालयों के बच्चों को एक यूनिक आईकार्ड देने की योजना बनाई गई थी। जिसमें प्रत्येक बच्चे का यूनिक आईकार्ड बनाया जाना था। इसके लिए तीन रुपए प्रति बच्चे के हिसाब से बजट भी दिया गया था। बजट का लाखों रुपए रुपए खर्च हो गया। लेकिन आईकार्ड आज तक नहीं बन सका। हालांकि अफसरों का कहना था कि बजट सिर्फ फोटो आदि खींचने के लिए दिया गया था। कार्ड बनाने के लिए बजट नहीं आया,जिससे योजना फ्लॉप हो गई।

डॉ.राम मनोहर लोहिया समग्र ग्राम विकास योजना के तहत इस वर्ष 2015-16 में ऐसी असेवित बस्ती में प्राथमिक विद्यालय खोला जाएगा जहां की आबादी 300 है और वहां कोई दूसरा विद्यालय स्थापित नहीं है। इसके अलावा कक्षा से आठ तक के लिए यह मानक तीन किलोमीटर पर माने जाएंगे। इस संबंध में राज्य परियोजना निदेशक शीतल वर्मा ने बीएसए को आदेश जारी कर दिए हैं। साथ ही कहा है कि कार्ययोजना में नए प्राइमरी व जूनियर विद्यालयों का प्रस्ताव मानक के अनुसार असेवित बस्तियों के लिए ही तैयार किया जाए।वर्ष 2015-16 में जनपद स्तर पर डॉ.राम मनोहर लोहिया समग्र ग्राम विकास योजना के तहत ग्रामों का चयन किया जा रहा है। इन ग्रामों में मानक के अनुसार प्राथमिक एवं उच्च प्राथमिक विद्यालयों की स्थापना की जाएगी। इसके लिए राज्य परियोजना निदेशक ने निर्देश दिए हैं कि चयनित ग्रामों का परीक्षण कर मानक के अनुसार जो बस्तियां प्राथमिक व उच्च प्राथमिक विद्यालय से असेवित हैं उनकी कार्ययोजना बनाई जाए। इसमें जिलाधिकारी के स्तर से जिले की समग्र ग्राम विकास विभाग को भेजी गई कार्ययोजना में अंतर नहीं होना चाहिए।असेवित बस्तियों में प्राथमिक के साथ-साथ जूनियर हाईस्कूल के निर्माण के भी मानक तय कर दिए गए हैं। कक्षा छह से आठ तक के बच्चों के लिए ऐसी बस्ती में विद्यालय स्थापित किया जाएगा, जिसके तीन किलोमीटर की दूरी में कोई विद्यालय न हो। साथ ही वहां की न्यूनतम आबादी 800 होनी अनिवार्य है। विद्यालयों का प्रस्ताव 15 मई तक देने के निर्देश दिए गए हैं।

परिषदीय विद्यालयों में बनेंगे बच्चों के आधार कार्ड, छात्रों के लिए लगेंगे शिविर : असेवित बस्तियों में एक किमी पर खुलेगा प्राथमिक और 800 की आबादी पर होगा जूनियर Reviewed by प्रवीण त्रिवेदी on 1:47 PM Rating: 5

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