हाई कोर्ट के आदेश का पालन करेगी सरकार , नौकरशाहों, जनप्रतिनिधियों को अपने बच्चों को परिषदीय स्कूलों में पढ़ाने का मामला

हाई कोर्ट के आदेश का पालन करेगी सरकार

नौकरशाहों, जनप्रतिनिधियों को अपने बच्चों को परिषदीय स्कूलों में पढ़ाने का मामला

नौकरशाहों, जनप्रतिनिधियों, न्यायापालिका और सरकारी खजाने से वेतन व लाभ पाने वाले लोगों को अपने बच्चों को परिषदीय स्कूलों में पढ़ाने के हाई कोर्ट के आदेश का राज्य सरकार पूरी तरह अनुपालन करेगी। बेसिक शिक्षा मंत्री राम गोविंद चौधरी ने इस सिलसिले में सभी सांसदों, विधायकों, राजनीतिक दलों के प्रदेश अध्यक्षों व महासचिवों, स्थानीय नगरीय निकायों व पंचायतों के प्रतिनिधियों, आइएएस, आइपीएस, पीसीएस, पीपीएस एसोसिएशन के अध्यक्षों व सचिवों, राज्य कर्मचारियों के संगठनों, सेंट्रल व स्टेट बार एसोसिएशन को पत्र लिखा है।

पत्र के माध्यम से उन्होंने हाई कोर्ट के आदेश के अनुपालन के लिए सहयोग, समर्थन और सुझाव मांगा है। इस तथ्य को शीर्ष प्राथमिकता देते हुए कि शासन-प्रशासन में बैठे लोक सेवकों, जनप्रतिनिधियों और समाज के सभी वर्गों के बच्चे परिषदीय स्कूलों में पढ़ने के लिए भेजे जाएं। पत्र में उन्होंने कहा है कि शिक्षकों, लोक सेवकों, जनप्रतिनिधियों और बुद्धिजीवियों की उदासीनता और कर्तव्य से विमुख होने के कारण ही हाई कोर्ट को यह आदेश देना पड़ा है। बेसिक शिक्षा मंत्री के रूप में उन्हें न सिर्फ इस आदेश का पूरी तरह पालन कराना है बल्कि तय समयावधि में अनुपालन से भी सूचित कराना है।

उन्होंने इस बात पर चिंता जतायी है कि बेसिक शिक्षा पर अधिकतम संसाधन खर्च करने के बावजूद अभिभावक परिषदीय स्कूलों में अपने बच्चों को भेजने को तैयार नहीं हैं। विधान मंडल के बजट सत्र में विधान सभा में अपने एलान के बाद पत्र में उन्होंने अपनी पौत्री को परिषदीय स्कूल में ही पढ़ाने की वचनबद्धता दोहरायी है। इस बात पर निराशा भी जतायी है कि बेसिक शिक्षा मंत्री का पदभार ग्रहण करने के बाद उन्होंने जनप्रतिनिधियों को परिषदीय स्कूलों के उन्नयन के बारे में तीन बार पत्र लिखे लेकिन कहीं से कोई सुझाव नहीं आया। पत्र में उन्होंने यह सवाल भी किया है कि क्या लोकसेवकों ने अपने जिले के परिषदीय स्कूलों में जाकर एक दिन भी किसी कक्षा के अध्यापक की भूमिका निभायी है।

हाई कोर्ट ने बीती 18 अगस्त को आदेश पारित करते हुए मुख्य सचिव से छह महीने के भीतर यह सुनिश्चित करने को कहा है कि सरकारी, अर्ध सरकारी सेवकों, स्थानीय निकायों के जनप्रतिनिधियों, न्यायपालिका और सरकारी खजाने से वेतन या धन पाने वाले लोगों के बच्चे अनिवार्य रूप से बेसिक शिक्षा परिषद द्वारा संचालित स्कूलों में पढ़ें।

हाई कोर्ट के आदेश का पालन करेगी सरकार , नौकरशाहों, जनप्रतिनिधियों को अपने बच्चों को परिषदीय स्कूलों में पढ़ाने का मामला Reviewed by प्रवीण त्रिवेदी on 10:15 AM Rating: 5

No comments:

Contact Form

Name

Email *

Message *

Powered by Blogger.