परिषदीय प्राथमिक विद्यालयों में अवस्थित (को-लोकेटेड) 8912 आंगनबाड़ी केन्द्रों हेतु बच्चों के प्रयोगार्थ फर्नीचर क्रय प्रक्रिया को निर्धारित करने एवं अनुमोदन प्रदान किये जाने के सम्बन्ध में
परिषदीय प्राथमिक विद्यालयों में अवस्थित (को-लोकेटेड) 8912 आंगनबाड़ी केन्द्रों हेतु बच्चों के प्रयोगार्थ फर्नीचर क्रय प्रक्रिया को निर्धारित करने एवं अनुमोदन प्रदान किये जाने के सम्बन्ध में।
8912 आंगनबाड़ी केंद्रों में शिशु डेस्क जल्द, होगा कायाकल्प
लखनऊ : बेसिक शिक्षा परिषद के विद्यालय परिसर में संचालित आंगनबाड़ी केंद्रों का कायाकल्प हो रहा है। वहां पढ़ने वाले तीन वर्ष से छोटे बच्चों को शिशु डेस्क जल्द मिलेगी। 8912 आंगनबाड़ी केंद्रों को शिशु डेस्क मुहैया कराने के लिए 13 करोड़ 81 लाख रुपये स्वीकृत हुए हैं। प्रमुख सचिव बेसिक शिक्षा ने शिशु डेस्क खरीदने के लिए हर जिले में समिति गठित करने का निर्देश दिया है।
नई शिक्षा नीति के तहत अब तीन वर्ष के बच्चों को सीधे कक्षा एक में प्रवेश नहीं मिलेगा। उन्हें प्राइवेट स्कूलों की तरह प्री प्राइमरी कक्षाओं में पढ़ाया जाएगा। इसके लिए उन्हें आंगनबाड़ी केंद्रों में संचालित प्री प्राइमरी शिक्षा दी जाएगी। उसके बाद वे निकट के प्राथमिक विद्यालयों में कक्षा एक में दाखिला पाएंगे, बच्चों को आंगनबाड़ी केंद्रों में पोषकतत्व भी मिलेंगे। आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को बच्चों को बेहतर शिक्षा देने का प्रशिक्षण भी दिया जाएगा।
प्रमुख सचिव बेसिक शिक्षा दीपक कुमार ने परिषदीय प्राथमिक विद्यालय परिसर में संचालित 8,912 आंगनबाड़ी केंद्रों में पढ़ रहे तीन से छह वर्ष के बच्चों के लिए फर्नीचर खरीद करने का निर्देश दिया है। इसके तहत प्रति केंद्र 15,500 रुपये की दर से 13 करोड़ 81 लाख 36 हजार रुपये खर्च किए जाएंगे। यह खरीद जेम पोर्टल से की जानी है।
परिषदीय प्राथमिक विद्यालयों में अवस्थित (को-लोकेटेड) 8912 आंगनबाड़ी केन्द्रों हेतु बच्चों के प्रयोगार्थ फर्नीचर क्रय प्रक्रिया को निर्धारित करने एवं अनुमोदन प्रदान किये जाने के सम्बन्ध में
Reviewed by sankalp gupta
on
7:36 PM
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