प्रदेश के सरकारी प्राइमरी स्कूलों की दुर्दशा पर हाईकोर्ट ने जताई गहरी नाराजगी, बेहतरी के लिए दिया तत्काल बड़े कदम उठाने के निर्देश
■ प्रमुख सचिव बेसिक से हाई कोर्ट ने तलब की रिपोर्ट
इलाहाबाद : हाई कोर्ट ने इलाहाबाद जिले के प्राइमरी स्कूलों की खस्ता हालत में सुधार की मांग को लेकर दाखिल जनहित याचिका पर प्रमुख सचिव बेसिक शिक्षा से तुरंत उपाय करने का निर्देश दिया है। कोर्ट ने 22 दिसंबर को अधिवक्ता आयुक्त की रिपोर्ट पर उठाए गए कदमों की विस्तृत जानकारी के साथ रिपोर्ट पेश करने का आदेश दिया। यह आदेश चीफ जस्टिस डी.बी.भोसले और जस्टिस यशवंत वर्मा की बेंच ने कार्तिक गोयल व 12 अन्य लॉ छात्रों की जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए दिया।
कोर्ट ने अधिवक्ता आयुक्त नियुक्त कर प्राइमरी स्कूलों का निरीक्षण करने और हालात की रिपोर्ट देने को कहा था। अधिवक्ता आयुक्त उदयन नंदन ने रिपोर्ट में याचिका में उठाए गए मुद्दों की पुष्टि करते हुए कहा कि प्राइमरी स्कूल बाउंड्री वॉल से सुरक्षित नहीं हैं, भवन की हालत जर्जर है।
ऐसी हालत में नहीं रख सकते बच्चों को : कोर्ट ने रिपोर्ट को गंभीरता से लेते हुए कहा कि बच्चों को ऐसी हालत में नहीं रखा जा सकता। कोर्ट ने प्रमुख सचिव बेसिक शिक्षा को समयबद्ध योजना के तहत सुविधाएं मुहैया कराने के कदम उठाने का निर्देश दिया है।
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