अकादमिक रिसोर्स पर्सन्स (ए०आर०पी०) के कार्यकाल की अवधि विस्तारित किये जाने के सम्बन्ध में
तीन साल के लिए ही तैनात होंगे ARP
कक्षा एक से आठ तक के प्राइमरी स्कूलों को निपुण बनाने एवं पढ़ाई की गुणवत्ता सुधारने के लिये एकडमिक रिसोर्स पर्सन (एआरपी) का अधिकतम कार्यकाल तीन वर्ष का होगा। किसी भी शिक्षक के एक बार एआरपी के पद पर चयन होने पर दोबारा नहीं बन पाएंगे। तीन वर्ष का कार्यकाल पूरा होने पर नए सिरे से चयन प्रकिया होगी। नए शिक्षकों को मौका मिलेगा। स्कूल महानिदेशक ने यह निर्देश जारी किये हैं। हालांकि मौजूदा समय में तैनात एआरपी का कार्यकाल मार्च 2025 बढ़ाया गया है।
अकादमिक रिसोर्स पर्सन्स (ARP) के कार्यकाल की अवधि विस्तारित किये जाने के सम्बन्ध में।
शासन का आदेश : अब अधिकतम तीन वर्ष तक ही ARP पद पर कार्य कर सकेंगे
लखनऊ : परिषदीय प्राथमिक व उच्च प्राथमिक स्कूलों के शिक्षक अब अधिकतम तीन वर्ष तक एकेडमिक रिसोर्स पर्सन (एआरपी) पद पर कार्य कर सकेंगे। अभी तक इनका कार्यकाल कोई निश्चित नहीं था। अभी एक वर्ष तक के लिए इन्हें रखा जाता था और फिर प्रदर्शन के आधार पर आगे इनका नवीनीकरण किया जाता था। ऐसे में कई शिक्षक तो एक वर्ष बाद ही इस पद से हट गए और कुछ चार-पांच वर्षों से कार्यरत हैं।
प्रमुख सचिव, बेसिक शिक्षा एमकेएस सुंदरम की ओर से यह आदेश जारी कर दिया गया। अब तीन वर्ष का कार्यकाल पूरा होने के बाद शिक्षक दोबारा एआरपी नहीं बन सकेंगे। जो एआरपी कार्यरत हैं और उनका कार्यकाल खत्म हो रहा है तो अब उनकी सेवा अवधि 31 मार्च वर्ष 2025 तक बढ़ा दी गई है।
प्रत्येक ब्लाक में पांच-पांच एआरपी को शैक्षिक गुणवत्ता में सुधार के लिए विद्यालयों के निगरानी की कमान दी गई है। यही नहीं, प्री-प्राइमरी से कक्षा दो तक के विद्यार्थियों को गणित व भाषा में निपुण बनाने का जिम्मा होगा। अपने-अपने ब्लाक के 10-10 स्कूलों को यह निपुण बनाएंगे।
सपोर्टिव सुपरविजन के लिए तैनात 4400 ARP का कार्यकाल मार्च 2025 तक बढ़ा, अधिकतम तीन साल ही होगा कार्यकाल, तीन साल के बाद आगे कभी नहीं होंगे चयनित
चालू शिक्षा सत्र में 10 विद्यालयों को निपुण बनाने का लक्ष्य
लखनऊ। परिषदीय विद्यालयों में शैक्षिक गुणवत्ता बेहतर करने व विद्यालयों के औचक निरीक्षण के लिए तैनात 4400 एकेडमिक रिसोर्स पर्सन (एआरपी) का कार्यकाल मार्च 2025 तक बढ़ा दिया गया है। हर एआरपी को चालू शिक्षा सत्र में अपने ब्लॉक के 10 स्कूलों को निपुण विद्यालय के रूप में विकसित करने का लक्ष्य भी पूरा करना होगा।
विद्यालयों में तैनात शिक्षकों में से ही हर ब्लॉक में पांच (कुल 4400) एआरपी तैनात किए गए हैं। इन्हें प्रेरणा एप पर विद्यालयों का सुपरविजन करना होता है। यह काम उन्हें प्रतिदिन कम से कम दो घंटे करना होता है।
एक ही विद्यालय का दोबारा निरीक्षण नहीं करना होता है। इसके लिए इन्हें हर माह 2500 रुपये टीए भी दिया जाता है। वर्तमान में पहले से चल रही एआरपी का कार्यकाल समाप्त हो गया था।
महानिदेशक स्कूल शिक्षा कंचन वर्मा की ओर से भेजे प्रस्ताव पर बेसिक शिक्षा विभाग के प्रमुख सचिव डॉ. एमकेएस सुंदरम ने शासनादेश जारी कर दिया। उन्होंने कहा है कि एआरपी का कार्यकालक मार्च 2025 तक बढ़ाया जाता है।
उन्होंने कहा कि 31 मार्च को जिन एआरपी का कार्यकाल तीन साल या इससे अधिक होगा, उनका कार्यकाल स्वतः समाप्त हो जाएगा। एआरपी की दोबारा चयन प्रक्रिया होगी।
वहीं हर साल एआरपी का परफॉर्मेंस के आधार पर अप्रेजल चयन समिति के अनुमोदन के बाद इनका नवीनीकरण किया जाएगा। तीन साल पूरा करने वाले कोई भी एआरपी आगे कभी भी एआरपी के लिए चयनित नहीं होंगे।
अकादमिक रिसोर्स पर्सन्स (ए०आर०पी०) के कार्यकाल की अवधि विस्तारित किये जाने के सम्बन्ध में
Reviewed by Brijesh Shrivastava
on
5:53 AM
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