ऑनलाइन जीओ का आदेश नजर अंदाज : सीएम की भी सुनने को तैयार नहीं अफसर
- पुराने जीओ भी नहीं कर रहे अपलोड
- कई विभागों ने नहीं माना निर्देश
लखनऊ।
शासनादेश ऑनलाइन जारी करने के सीएम के आदेश के बावजूद अफसर कार्यशैली में
सुधार लाने को तैयार नहीं हैं। कई विभागों में आदेश की अनदेखी हो रही है।
आलम ये है कि छूटे शासनादेश न तो अपलोड कराए गए हैं और न आदेश ऑनलाइन जारी
किए जा रहे हैं।
प्रदेश सरकार ने शासन के
निर्णयों की जानकारी जनता तक सहजता से पहुंचाने के लिए शासनादेशों को
ऑनलाइन जारी करने की पहल की है। इसे लागू करने के लिए मुख्य सचिव तक ने
लिखापढ़ी की। कई बार टाइमलाइन तय कर कार्रवाई के आदेश हुए लेकिन अफसरों ने
तवज्जो नहीं दिया। 20 सितंबर को मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने साफ किया कि एक
मार्च 2014 से जारी शासनादेश तभी वैध माने जाएंगे जब वे ऑनलाइन जारी हुए
हों।
चूंकि बड़ी संख्या में जीओ ऑनलाइन
जारी नहीं हुए थे लिहाजा उन्होंने बीच का रास्ता बनाया। तय किया कि जो जीओ
ऑनलाइन जारी नहीं हुए हैं उन्हें 30 सितंबर तक वेबसाइट http://esangrah.up.nic.in पर अपलोड
किया जाए। इसके लिए इस वेबसाइट को ऑनलाइन शासनादेश की वेबसाइट http://shasanadesh.up.nic.in
से लिंक करने का प्रावधान किया। साथ ही हिदायत दी कि आगे से सभी जीओ तय
दिशा-निर्देश के अनुसार ऑनलाइन ही जारी किए जाएंगे। लेकिन कई विभागों ने
मुख्य सचिव की तरह मुख्यमंत्री के निर्देश को भी अनसुना कर दिया। वे पहले
की ही तरह मैनुअल जीओ जारी कर रहे हैं। अपनी सुविधा के अनुसार बाद में
ऑनलाइन जारी करते हैं। कई विभाग ऐसे हैं जिन्होंने सरकार की इस योजना से
मतलब ही नहीं रखा। कुछ विभाग जनता से जुड़ी सूचनाएं तो दबा जाते हैं लेकिन
जिन सूचनाओं का जनता से मतलब नहीं होता, उसे ऑनलाइन करते रहते हैं।
ऑनलाइन जीओ का आदेश नजर अंदाज : सीएम की भी सुनने को तैयार नहीं अफसर
Reviewed by Brijesh Shrivastava
on
8:45 AM
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