शिक्षक पात्रता परीक्षा (यूपीटीईटी) 2015 का ई-सर्टिफिकेट/प्रमाणपत्र जारी करने पर लगा विवाद का ग्रहण, न छपने का हुआ आदेश और न साइट पर ही हुये प्रमाणपत्र अपलोड
इलाहाबाद : शिक्षक पात्रता परीक्षा (टीईटी) 2015 का ई-सर्टिफिकेट/प्रमाणपत्र जारी करने पर ग्रहण लग गया है। शासन इस बार ई-सर्टिफिकेट ऑनलाइन दिए जाने का आदेश जारी कर चुका है बाद में ऑफलाइन प्रमाणपत्र भी बांटे जाने की चर्चा चली, ताकि ग्रामीण युवाओं को कोई परेशानी न हो। इस मामले में अभी कोई अंतिम निर्णय नहीं हो सका है, इससे किसी भी रूप में प्रमाणपत्र देने की प्रक्रिया पूरी नहीं हो सकी है। युवाओं को प्रमाणपत्र का तो अफसरों को प्रमाणपत्र जारी करने के तरीके का आदेश मिलने का इंतजार है।
टीईटी 2015 परीक्षा दो फरवरी को हुई थी और मार्च में रिजल्ट भी आ गया। इस परीक्षा में 83 फीसद युवा अनुत्तीर्ण हुए और सिर्फ 17 फीसद ही परीक्षा उत्तीर्ण कर पाए हैं। उसके बाद से युवाओं को प्रमाणपत्र देने को लेकर तैयारियां चल रही हैं। बेसिक शिक्षा के पूर्व सचिव आशीष गोयल ने इस बार से युवाओं को ऑनलाइन ई-सर्टिफिकेट जारी करने का आदेश दिया था। इस संबंध में शासन का फरमान जारी हो चुका है और परीक्षा नियामक प्राधिकारी कार्यालय एवं एनआइसी मिलकर परीक्षा परिणाम को वेबसाइट पर अपलोड करने की तैयारी में थे। कहा जा रहा था कि ई-सर्टिफिकेट मई के अंत तक आ जाएगा। इसी बीच पूर्व सचिव के हटने एवं इलाहाबाद विश्वविद्यालय के ऑनलाइन व ऑफलाइन का विवाद बढ़ने से अफसर सचेत हो गए।
शासन अब परीक्षा नियामक प्राधिकारी से ऑफलाइन प्रमाणपत्र भेजे जाने पर भी चर्चा कर रहा है। उनका कहना है कि टीईटी में बैठने एवं उत्तीर्ण होने वाले अधिकांश युवा ग्रामीण परिवेश से आते हैं ऐसे में उन पर ई-सर्टिफिकेट डाउनलोड करने का जिम्मा न दिया जाए, बल्कि यह सुविधा वेबसाइट पर उपलब्ध जरूर रहे, जो चाहे अभ्यर्थी इसे निकाल सकते हैं या फिर वह चाहे तो जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान (डायट) से हार्डकॉपी भी ले सकते हैं। इस मामले में अभी मंथन चल रहा है कोई अंतिम निर्णय नहीं हो सका है, लेकिन डायटों से भी प्रमाणपत्र वितरित करने की उम्मीद जरूर बढ़ गई है।
कहा जा रहा है कि प्रमाणपत्र छपने, डायट भेजने एवं उसके वितरित होने में महीनों का समय भी लगेगा। ऐसे में यह प्रमाणपत्र अभ्यर्थियों के हाथ जल्द पहुंचने के आसार नहीं हैं, वहीं ई-सर्टिफिकेट की वेबसाइट अब तक तैयार नहीं हो सकी है। परीक्षा नियामक प्राधिकारी कार्यालय के अफसर इस मामले में कुछ बोलने को तैयार नहीं है उनका कहना है कि जैसा निर्देश आएगा उसका अनुपालन होगा।
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