नई शिक्षा नीति का पहला मसौदा साल के अंत तक, प्राथमिक स्तर पर शिक्षा की गुणवत्ता को बेहतर बनाना होगा उद्देश्य
शिक्षा के विविध आयामों पर विचार करने वाली कस्तूरीरंगन समिति इस साल के अंत तक नई शिक्षा नीति का पहला मसौदा पेश कर सकती है। समिति की अब तक पांच बैठकें हो चुकी हैं। मानव संसाधन विकास राज्य मंत्री सत्यपाल सिंह ने कहा कि नई शिक्षा नीति का मकसद प्रथमिक स्तर पर शिक्षा की गुणवत्ता को बेहतर बनाना, साथ ही उच्च शिक्षा को व्यावहारिक एवं वहनीय बनाना है। इसमें शिक्षा को सामान्य लोगों की पहुंच के दायरे में लाने के साथ कौशल विकास पर जोर होगा। उन्होंने कहा कि नई शिक्षा नीति पर एक समिति विचार कर रही है और यह कार्य अंतिम चरण में है। समिति पहला मसौदा इस साल के अंत तक पेश कर सकती है। सिंह ने हाल ही में दिल्ली में देश के विभिन्न क्षेत्रों से आए शिक्षाविदों के एक प्रतिनिधिमंडल के साथ मुलाकात की। इस बैठक में नई शिक्षा नीति तैयार किये जाने के परिप्रेक्ष में शिक्षाविदों के साथ र्चचा की गई और उनकी राय ली गई। बैठक में इस बात पर जोर दिया गया कि उच्च शिक्षण संस्थाओं को उत्कृष्ठता के केंद्र के रूप में विकसित किए जाने की जरूरत है। इसके साथ ही शिक्षा के अधिकार कानून को मजबूती प्रदान किये जाने पर भी जोर दिया गया।
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