अध्यापक शिवकुमार पाठक की बर्खास्तगी पर हाईकोर्ट ने लगायी रोक, सरकार तथा अधिकारिओं से जवाब तलब
इलाहाबाद। प्रदेश के प्रशासनिक अधिकारिओं, राजनेताओं, जजों व
अन्य अधिकारिओं के बच्चों की पढ़ाई प्राथमिक स्कूलों में अनिवार्य किये
जाने के हाईकोर्ट के आदेश से सुर्खियों में रहे अध्यापक शिव कुमार पाठक की
सेवा से बर्खास्तगी आदेश पर बृहस्पतिवार को इलाहाबाद हाईकोर्ट ने रोक लगा
दी। कोर्ट ने हाईकोर्ट के आदेश के बाद अध्यापक को बर्खास्त करने के सरकारी
अधिकारिओं के आदेश को प्रथमदृष्टया गलत माना है और सरकार तथा अधिकारिओं से
जवाब तलब किया है।
यह आदेश जस्टिस अमित स्थालेकर ने टीचर शिव कुमार पाठक की याचिका पर दिया है। मालूम हो कि जस्टिस सुधीर अग्रवाल ने विगत माह अगस्त को आदेश दिया था कि प्रदेश के सभी प्रशासनिक अधिकारियों, राजनेताओं, जजों व अन्य सभी अधिकारिओं के बच्चो की पढ़ाई प्राथमिक विद्यालयों में अनिवार्य कर दी जाय तभी इन विद्यालयों कि दशा में सुधार होगा। इस आदेश को लेकर याची अध्यापक को सेवा से बर्खास्त कर दिया गया था जिसे याचिका में इस अध्यापक ने चुनौती दी थी।
यह आदेश जस्टिस अमित स्थालेकर ने टीचर शिव कुमार पाठक की याचिका पर दिया है। मालूम हो कि जस्टिस सुधीर अग्रवाल ने विगत माह अगस्त को आदेश दिया था कि प्रदेश के सभी प्रशासनिक अधिकारियों, राजनेताओं, जजों व अन्य सभी अधिकारिओं के बच्चो की पढ़ाई प्राथमिक विद्यालयों में अनिवार्य कर दी जाय तभी इन विद्यालयों कि दशा में सुधार होगा। इस आदेश को लेकर याची अध्यापक को सेवा से बर्खास्त कर दिया गया था जिसे याचिका में इस अध्यापक ने चुनौती दी थी।
खबर साभार : सहारा
याचिकाकर्ता शिक्षक शिवकुमार की बर्खास्तगी पर रोक
अनुपस्थिति के आधार पर किया गया था बर्खास्त
अनुपस्थिति के आधार पर किया गया था बर्खास्त
इलाहाबाद
(ब्यूरो)। हाईकोर्ट ने सुल्तानपुर के प्रशिक्षु शिक्षक शिवकुमार पाठक की
बर्खास्तगी के आदेश पर रोक लगा दी है। शिवकुमार पाठक ने हाईकोर्ट में
याचिका दाखिल की थी जिस पर एकल न्यायपीठ ने आदेश पारित कर सभी सरकारी
कर्मचारियों, मंत्रियों, विधायकों, सांसदों आदि के बच्चों को सरकारी
विद्यालयों में ही पढ़ाने का आदेश दिया था। शिवकुमार ने बर्खास्तगी आदेश को
याचिका दाखिल कर चुनौती दी थी। याचिका पर न्यायमूर्ति बी अमित स्थालकर ने
सुनवाई करते हुए बर्खास्तगी आदेश पर रोक लगा दी है।
याची
का कहना है कि उसने उसने गणित विज्ञान के सहायक अध्यापकों की नियुक्ति के
मामले में हाईकोर्ट में याचिका दाखिल कर रखी थी। इसकी पैरवी के लिए वह
स्वीकृत अवकाश पर था इसके बावजूद बेसिक शिक्षा विभाग ने उसको लगातार
अनुपस्थित दिखाते हुए सेवा से बर्खास्त कर दिया। सरकार का कहना था कि
प्रशिक्षु शिक्षक के मामले में सर्विस रूल्स लागू नहीं होंगे। बर्खास्तगी
का आदेश उसे 17 अगस्त को मिला जबकि कोर्ट ने 18 अगस्त को अपना निर्णय
सुनाया था। कोर्ट ने दोनों पक्षों की जिरह सुनने के बाद बर्खास्तगी आदेश पर
रोक लगा दी है।
खबर साभार : नवभारत
खबर साभार : दैनिक जागरण
अध्यापक शिवकुमार पाठक की बर्खास्तगी पर हाईकोर्ट ने लगायी रोक, सरकार तथा अधिकारिओं से जवाब तलब
Reviewed by Brijesh Shrivastava
on
8:01 AM
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