बेसिक शिक्षा परिषद के अधीन संचालित विद्यालयों कार्यरत शिक्षक एवं शिक्षिकाओं के शैक्षिक सत्र 2025-26 में स्वेच्छा से अन्तः जनपदीय स्थानान्तरण एवं समायोजन के संबंध में

जिले के अंदर समायोजन (तबादले) का असर,  बेसिक शिक्षा विभाग का प्रयास सफल रहा तो 10 हजार स्कूलों को मिलेंगे पर्याप्त शिक्षक
 

लखनऊ। बेसिक शिक्षा विभाग ने यूं ही नहीं आठ साल बाद जिले के अंदर सामान्य तबादले की प्रक्रिया शुरू की है। इसके पीछे विभाग का मकसद एकल, शिक्षकविहीन और ज्यादा शिक्षकों वाले विद्यालय में संतुलन बनाना है। विभाग का यह प्रयास सफल रहा तो 10 हजार से अधिक विद्यालयों में शिक्षकों की कमी दूर होगी।

विभाग के अनुसार प्रदेश में 1700 से अधिक विद्यालय शिक्षकविहीन हैं। यहां पर नजदीकी स्कूलों के शिक्षक या शिक्षामित्रों को तैनात कर पढ़ाई कराई जा रही है। ऐसे ही 9100 से अधिक विद्यालयों में सिर्फ एक शिक्षक की तैनाती है। शिक्षामित्र व अनुदेशक भी तैनात हैं। कई स्कूल ऐसे भी हैं, जहां पर छात्र संख्या की तुलना में अधिक शिक्षक तैनात हैं। 

ऐसे में विभाग की कोशिश है कि इन तबादलों से विद्यालयों में शिक्षकों की तैनाती का संतुलन बने। यही वजह है कि आठ साल बाद हो रहे जिले के अंदर व एक साल बाद हो रहे एक से दूसरे जिले में सामान्य तबादलों का मुख्य आधार यू-डायस पोर्टल पर उपलब्ध छात्र संख्या के आधार पर आरटीई के मानकों को बनाया गया है।

इस कवायद का असर पठन पाठन व्यवस्था पर भी पड़ेगा। शासन से जारी तबादला निर्देश में कहा गया है कि जरूरत से अधिक शिक्षक वाले स्कूलों व जिलों को चिह्नित कर सूचना पोर्टल पर ऑनलाइन जारी की जाएगी। इसके अनुसार शिक्षक अपना 10 प्राथमिकता वाला विकल्प देंगे। विभाग शिक्षकों का तबादला उनकी स्वेच्छा से ही ज्यादा से कम शिक्षक संख्या वाले विद्यालयों व जिलों में करेगा।

वर्तमान तबादलों पर भी पड़ेगा असर
प्रदेश में चल रही परस्पर तबादले की प्रक्रिया के बीच शासन ने सामान्य तबादले का आदेश जारी कर दिया है। शिक्षक नेताओं की मानें तो इसका असर चल रही प्रक्रिया पर भी पड़ेगा। शिक्षक नेता निर्भय सिंह ने बताया कि सामान्य तबादले में कहा गया है कि जरूरत से अधिक शिक्षक वाले स्कूलों व जिलों को चिह्नित किया जाएगा। इसका मतलब इन्हीं स्कूलों व जिलों में शिक्षकों का तबादला होगा।

ऐसे में अगर परस्पर तबादला पाने वाला शिक्षक, जहां आ रहा है और वहां पहले से शिक्षकों की संख्या बेहतर है तो सामान्य तबादले में वह फिर कहीं भेजा जा सकता है। हालांकि, शासन ने स्पष्ट किया है कि तबादला स्वेच्छा से ही होंगे। सामान्य तबादले में जाने वाला शिक्षक संबंधित जिले में वरिष्ठता सूची में सबसे नीचे होगा। इससे भी कई शिक्षक तबादला नहीं लेना चाहेंगे।

गर्मी की छुट्टियों में हो सकती है प्रक्रिया पूरी
विभाग ने 2023 में एक से दूसरे जिले में परस्पर तबादले की प्रक्रिया 24 दिन में पूरी की थी। इसमें 16614 शिक्षकों को तबादले का अवसर मिला था। वरिष्ठ अधिकारियों का कहना है कि इस साल भी गर्मी की छुट्टियों में ही सामान्य तबादला करने की तैयारी है। बता दें, वर्तमान में जिले के अंदर और एक से दूसरे जिले में परस्पर तबादले की प्रक्रिया पहले से चल रही है।




आठ साल बाद होगा बेसिक शिक्षकों की जिले के अंदर तबादले व समायोजन की प्रक्रिया होगी शुरू

शिक्षकों को देना होगा दस विद्यालयों का विकल्प

शिक्षक-छात्र अनुपात पर होगा एक से दूसरे जिले में तबादला

लखनऊ। परिषदीय विद्यालयों में अपने घर के पास जाने की उम्मीद लगाए शिक्षकों को बड़ी राहत मिली है। शासन ने आठ साल बाद जिले के अंदर सामान्य तबादले व समायोजन का आदेश जारी किया है।  अब बेसिक शिक्षा विभाग समय सारिणी जारी कर तबादले की प्रक्रिया पूरी करेगा।

प्रदेश में 2016 में परिषदीय विद्यालयों के शिक्षकों के जिले के अंदर सामान्य तबादले किए गए थे। इसके बाद से लगातार शिक्षक सामान्य तबादला करने की मांग कर रहे थे।  ऐसे में अब आठ साल बाद जिले के अंदर सामान्य तबादले किए जाएंगे।

बेसिक शिक्षा विभाग के विशेष सचिव अवधेश कुमार तिवारी की ओर से जारी आदेश के अनुसार  विद्यालयों में तर्कसंगत परिनियोजन (रेशनल डिप्लॉयमेंट) के तहत जिले के अंदर तबादला किया जाएगा। इसके लिए डीएम की अध्यक्षता में चार सदस्यीय कमेटी होगी। इसमें सीडीओ, डायट प्राचार्य व बीएसए शामिल होंगे। तबादले ग्रामीण सेवा संवर्ग से ग्रामीण सेवा संवर्ग व नगर क्षेत्र से नगर क्षेत्र में किए जाएंगे। 


शिक्षकों को देना होगा दस विद्यालयों का विकल्प
अधिक शिक्षक वाले विद्यालय से आवश्यकता वाले विद्यालय में तबादला होगा। जिले में ज्यादा शिक्षकों वाले व शिक्षकों की जरूरत वाले विद्यालयों की सूचना पोर्टल पर ऑनलाइन की जाएगी। शिक्षक से दस विद्यालयों का विकल्प लिया जाएगा। ऑनलाइन पोर्टल पर आवेदन ही पूरा माना जाएगा।


ऑनलाइन विकल्प वरीयता के क्रम में होगा
अन्तर्जनपदीय में अधिक अध्यापक वाले जिलों में तैनात शिक्षकों को स्वेच्छा से जरूरत वाले जिलों का ऑनलाइन विकल्प वरीयता में मिलेगा। अनुपात पूरा करने को कम वाले जिलों में तबादला होगा। जनपद में कार्यरत नियमित शिक्षक, शिक्षिका अर्ह होंगे। अन्तर्जनपदीय स्थानांतरण के लिए सेवावधि बाध्यता नहीं होगी। पोर्टल पर आवेदन पत्र सब्मिट करने पर ही पूर्ण माना जायेगा।


स्वप्रमाणित छायाप्रति बीएसए को देनी होगी
शिक्षक भरे आवेदन पत्र, सम्बन्धित अभिलेखों की छायाप्रतियों को स्व-प्रमाणित कर जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी कार्यालय में जमा करेंगे। सत्यापन में अभिलेख फर्जी/कूटरचित पाये जाने पर अध्यापक के विरुद्ध विधिक कार्रवाई होगी। स्वेच्छा से अन्तः जनपदीय स्थानान्तरण, समायोजन के बाद संबंधित जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी मानव सम्पदा पोर्टल पर विवरण अपडेट करेंगे।


शिक्षक छात्र अनुपात बनेगा आधार
यू-डायस पोर्टल पर शिक्षक-छात्र अनुपात की गणना की जाएगी। उन जिलों की सूची बनेगी, जहां शिक्षक कम है, उन जिलों की भी सूची बनेगी, जहां जरूरत से ज्यादा है। यह सूची ऑनलाइन प्रकाशित की जाएगी।


स्वेच्छा से भी तबादला
जिन जिलों में शिक्षकों की संख्या ज्यादा है, वहां शिक्षक, शिक्षिकाएं स्वेच्छा से उन जिलों का चयन कर सकेंगे, जहां शिक्षकों की जरूरत है। यह चयन ऑनलाइन होगा। शिक्षक पसंद को वरीयता दे सकेंगे।




बेसिक शिक्षा परिषद के अधीन संचालित विद्यालयों कार्यरत शिक्षक एवं शिक्षिकाओं के शैक्षिक सत्र 2025-26 में स्वेच्छा से अन्तः जनपदीय स्थानान्तरण एवं समायोजन के संबंध में


उपर्युक्त विषयक अपने पत्रांक शि०नि० (बे0)/6295-98/2025-26, दिनांक-16.05.2025 एवं शि०नि० (बे०)/6996-99/2025-26, दिनांक 20.05.202 का कृपया संदर्भ ग्रहण करने का कष्ट करें, जिसके द्वारा विषयगत प्रकरण में प्रस्ताव उपलब्ध कराते हुए यथावश्यक निर्देशित करने का अनुरोध किया गया है।

2-इस संबंध में शासन स्तर पर सम्यक विचारोपरान्त मुझे यह कहने का निदेश हुआ है कि निःशुल्क एवं अनिवार्य बाल शिक्षा का अधिकार अधिनियम 2009 एवं उत्तर प्रदेश निःशुल्क एवं उत्तर प्रदेश निःशुल्क एवं अनिवार्य बाल शिक्षा का अधिकार नियमावली 2011 के मान मानकों के अनुसार बेसिक शिक्षा परिषद के अधीन संचालित विद्यालयों में कार्यरत शिक्षक एवं शिक्षिकाओं के तर्कसंगत परिनियोजन (Rational Deployment) हेतु शैक्षिक सत्र 2025-26 में स्वेच्छा से अन्तः जनपदीय स्थानान्तरण एवं समायोजन हेतु निम्नवत नीति निर्धारित की जाती हैः-

1- अन्तः जनपदीय स्थानान्तरण प्रक्रिया निःशुल्क एवं अनिवार्य बाल शिक्षा का अधिकार अधिनियम 2009 एवं उत्तर प्रदेश निःशुल्क एवं उत्तर प्रदेश निःशुल्क एवं अनिवार्य बाल शिक्षा का अधिकार नियमावली 2011 के प्राविधानानुसार जनपद स्तर पर निम्नवत समिति द्वारा की जाएगी-





बेसिक शिक्षा परिषद के अधीन संचालित विद्यालयों कार्यरत शिक्षक एवं शिक्षिकाओं के शैक्षिक सत्र 2025-26 में स्वेच्छा से अन्तः जनपदीय स्थानान्तरण एवं समायोजन के संबंध में Reviewed by प्राइमरी का मास्टर 2 on 5:13 AM Rating: 5

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