परिषदीय व कस्तूरबा गांधी आवासीय स्कूलों में रखी जाएगी शिकायत पेटिका, छेड़खानी करने वालों की अब खैर नहीं
परिषदीय एवं कस्तूरबा गांधी आवासीय स्कूलों में छात्रओं से छेड़खानी व अश्लील हरकत करने वालों की अब खैर नहीं। गलत हरकत करने वालों से निपटने के लिए मौखिक शिकायत करने की जरूरत नहीं है। इसके लिए नई व्यवस्था शुरू की जा रही है। छात्रओं को एक कागज में अपनी परेशानी लिखकर शिकायत पेटिका में डालनी होगी। विद्यालय प्रबंधन समिति उसका निस्तारण कराएगी। यही नहीं छात्रएं स्कूल की पठन-पाठन व्यवस्था और उसके सुधार के बारे में भी लिख सकती हैं।
विभिन्न स्कूलों में पढ़ने वाली छात्रएं लगातार छेड़खानी व गलत हरकत का शिकार होती रही हैं। शर्म और संकोच के कारण वे स्कूल में किसी से कुछ बोल नहीं पातीं। इससे मनचलों की हरकत बढ़ती जाती है। इसका निस्तारण करने के लिए परिषदीय व कस्तूरबा गांधी आवासीय बालिका विद्यालय में नई पहल की गई है। जेंडर संवेदीकरण कार्यक्रम के तहत स्कूलों में शिकायत पेटिका रखी जाएगी। इसमें अपने अपनी किसी भी तरह की शिकायत लिख कर डाल देनी होगी। उसका निस्तारण स्कूल प्रबंधन करेगा। इतना ही नहीं स्कूल में शिक्षक आ रहे हैं कि नहीं। शौचालय साफ होता है कि नहीं। मिड-डे-मील बन रहा है कि नहीं, जैसी शिकायतें भी छात्रएं शिकायत पेटिका में लिखकर डाल सकती हैं।
जेंडर संवेदीकरण कार्यक्रम के क्रियांवयन के मद्देनजर 21 नोडल बालिका सह समन्वयक की तैनाती की गई है। विद्यालय प्रबंध समिति (एसएमसी) के साथ नोडल सह समंवयक मीटिंग कर शिकायत पेटिका की समस्याओं की जांच-पड़ताल करेंगे। इसके बाद शिकायत निस्तारित कराई जाएगी।
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