आखिर बीएड के बाद क्या? ऐसे करें तैयारी सीटेट की - आइये जानते हैं
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परीक्षा की तिथि- 21.02.2016
प्रमुख सरकारी स्कूलों समेत विभिन्न निजी स्कूलों में पहली से आठवीं कक्षा तक के शिक्षक होने के लिए सेंट्रल टीचर एलिजिबिलिटी टेस्ट (सीटीईटी) में पास होना अनिवार्य कर दिया है। अगर आप बीएड कर चुके हैं, तो सीटीईटी भी क्वालिफाई कर लें।
अगर आप अध्यापन में अपना कॅरियर टटोल रहे हैं, तो स्कूलों में अध्यापक की सरकारी नौकरी के लिए आपको बीएड, बीएलएड (स्पेशल एजुकेशन) और बीएलएड में डिप्लोमा और डिग्री लेने के अलावा भी आपको सीटीईटी की परीक्षा भी पास करनी होगी। जिस तरह विश्वविद्यालयों में लेक्चरर बनने के लिए यूजीसी द्वारा आयोजित नेट परीक्षा क्वालिफाई करना जरूरी है, उसी तरह स्कूलों में शिक्षक की पात्रता हासिल करने के लिए सीटीईटी क्वालिफाई करना अब अनिवार्य कर दिया गया है।
सीबीएसई द्वारा आयोजित इस परीक्षा में क्वालिफाई होने के बाद ही अभ्यर्थी केंद्रीय सरकारी विद्यालयों, नवोदय विद्यालय और सरकार से मान्यता प्राप्त तिब्बती स्कूलों में बतौर अध्यापक आवेदन कर सकते हैं। इसके अलावा जिन राज्यों में एसटीईटी (स्टेट टीचर एलिजिबिलिटी टेस्ट) नहीं होता है, वहां के राज्य सरकार द्वारा संचालित स्कूलों में भी सीटीईटी को मान्यता मिलती है। सीबीएसई इस परीक्षा का आयोजन साल में दो बार (फरवरी और सितंबर) में करती है। अगर आप भी यह परीक्षा देने की सोच रहे हैं, तो परीक्षा में सफल होने के लिए अब कमर कसने का वक्त आ गया है।
परीक्षा का प्रारूप
बहुविकल्पीय प्रश्नों पर आधारित इस परीक्षा में एक-एक अंक के कुल 150 सवाल पूछे जाएंगे। ये प्रश्न हिंदी के अलावा अंग्रेजी में भी होंगे, जिन्हें ढाई घंटे (150 मिनट) में हल करना होगा। इस परीक्षा में नेगेटिव मार्किंग का नियम नहीं है, इसलिए गलत उत्तर होने पर भी कोई अंक नहीं काटा जाएगा। पेपर-द्वितीय को सुबह की पाली में और पेपर-प्रथम को दोपहर की पाली में आयोजित किया जाएगा।
कक्षा 1 से 5 के लिए होने वाली इस परीक्षा प्रश्न पत्र में पांच भाग होंगे। हर भाग में 30-30 प्रश्न पूछे जाएंगे, इन भागों के नाम हैं- बाल विकास एवं शिक्षा शास्त्र, भाषा प्रथम, भाषा द्वितीय, गणित और पर्यावरण अध्ययन, इन प्रश्नों का पाठ्यक्रम इंटरमीडिएट स्तर तक का होगा और प्रश्नों की प्रकृति ऐसी होगी, जिसमें 6 से 11 वर्ष तक के बच्चों को बाल विकास, दो भाषाएं, गणित और पर्यावरण का ज्ञान अवश्य हो।
पेपर-द्वितीय (उच्च प्राथमिक) में बाल विकास एवं शिक्षा शास्त्र, भाषा प्रथम एवं भाषा द्वितीय प्रत्येक से 30-30 सवाल पूछे जाएंगे। इन भागों के प्रश्नों का जवाब देना सभी के लिए जरूरी है। इसके साथ 60 प्रश्नों का एक और भाग होगा। इसे शिक्षण जरूरतों के अनुरूप बनाया गया है, जो उम्मीदवार गणित और विज्ञान का शिक्षक बनना चाहते हैं, उन्हें इस भाग में गणित व विज्ञान के सवालों को हल करना होगा। इसी तरह सामाजिक अध्ययन/सामाजिक विज्ञान का शिक्षक बनने वालों को इस भाग में सामाजिक विज्ञान के सवालों को हल करना होगा। किसी अन्य विषय के शिक्षण कार्य में रुचि रखने वालों को इन्हीं दो भागों में से किसी एक को हल करना होगा। इन प्रश्नों का पाठ्यक्रम स्नातक स्तर तक का होगा और प्रश्नों की प्रकृति ऐसी होगी, जिसमें 11 से 14 वर्ष तक के बच्चों को बाल विकास, दो भाषाएं, विज्ञान एवं गणित तथा सामाजिक विज्ञान का ज्ञान अवश्य हो।
बाल विकास तथा अभिज्ञान के लिए अभिवृद्धि एवं विकास की अवस्थाएं, वैयक्तिक विभिन्नताएं, मानसिक स्वास्थ्य और अभिरुचि, पियाजे, कोहलवर्ग तथा व्योट्स्की के सिद्धांत, लिंग, समावेशी शिक्षा आदि टॉपिक अच्छी तरह से तैयार करें। इसके अलावा शिक्षा से संबंधित अनुच्छेद, जवाहर नवोदय विद्यालय, केंद्रीय विद्यालयों की स्थापना उनके उद्देश्य, मनीष समिति, राधाकृष्णन आयोग, कोठारी आयोग, राष्ट्रीय शिक्षा नीति, राष्ट्रीय पाठ्यचर्या की रूपरेखा (एनसीएफ-2005) शिक्षा बिना बोझ के-1993 तथा शिक्षा का अधिकार अधिनियम-2009 में शिक्षक की भूमिका और उत्तरदायित्व का अध्ययन जरूर करें।
हिंदी में क्रमशः एक गद्यांश तथा पद्यांश, हिंदी भाषा-शिक्षण से संबंधित प्रश्न, भाषा विकास से संबंधित प्रश्न तथा व्याकरण के लगभग सभी भागों से प्रश्न पूछे जाते हैं। इसके लिए एनसीईआरटी की कक्षा 1-10 तक की हिंदी की पुस्तकों की सहायता लें।
अंग्रेजी में वॉकेबलरी को स्ट्राॅन्ग करें, क्योंकि शब्दों के अर्थ पता नहीं होने के कारण बहुत परेशानी होती है, इसके अलावा पार्ट ऑफ स्पीच, टेंस, इडीयम्स, एंटोनिम्स, सिनोनिम्स, फिगर ऑफ स्पीच आदि टॉपिक अच्छी तरह से तैयार कर लें। तैयारी के लिए कक्षा 1 से 10 तक की अंग्रेजी की एनसीईआरटी की पुस्तकें लाभदायी होंगी।
सामाजिक अध्ययन वाले भाग में इतिहास से सबसे अधिक प्रश्न आते हैं। इसे सबसे पहले तैयार करें। उसके बाद भूगोल, फिर राजनीति शास्त्र तैयार करें। इसके लिए आपको कक्षा 6-12 तक एनसीईआरटी की सामाजिक अध्ययन की पुस्तकों का अध्ययन कई बार करना होगा, क्योंकि प्रश्न इन्हीं पुस्तकों में से पूछे जा रहे हैं।
विज्ञान तथा गणित वाले भाग में शिक्षण से संबंधित 20 प्रश्न और 40 प्रश्न अन्य हिस्से से पूछे जाएंगे, जिसके लिए एनसीईआरटी की कक्षा 6-12 तक की विज्ञान की पुस्तकें, अभी से पढ़ना शुरू कर दें। अपनी भाषा में उनके नोट्स बना लें, जिससे अंतिम समय में उनका रीविजन करने में आसानी होगी।
इस परीक्षा में समय का बहुत महत्व होता है। अतः कोचिंग के अलावा मॉडल पेपर लेकर मॉक टेस्ट का अभ्यास करें। निर्धारित समय में प्रश्नों को हल करने में मदद मिलेगी और परीक्षा के दौरान जो कठिनाइयां आएंगी, उसकी समीक्षा करने में मदद मिलेगी।
● विनोद यादव
(लेखक सार्थक एकेडमी, मेरठ के निदेशक हैं।)
साभार - अमर उजाला
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