डायटों में बायोमैट्रिक उपस्थिति हुई अनिवार्य
- मास्साब खाएंगे कसम, समय से पड़ेंगे स्कूल में कदम
- एससीईआरटी ने डायट प्राचार्यो को जारी किए निर्देश
- डायट और निजी बीटीसी कॉलेजों की पढ़ाई की भी होगी जांच
- डायटों में बायोमैट्रिक उपस्थिति हुई अनिवार्य,तैयार होगा एकेडमिक प्लान
लखनऊ। सूबे के जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थानों तथा निजी बीटीसी कॉलेजों में ट्रेनिंग लेने वाले मास्साब को अब नियमित रूप से समय से स्कूल पहुंचने, छात्रों को पढ़ाने और शैक्षिक उपलब्धि बढ़ाने की शपथ दिलाई जाएगी। यही नहीं, डायट संस्थानों एवं निजी बीटीसी कॉलेजों में कराए जा रहे पठन-पाठन की आकस्मिक जांच कर शिक्षक-प्रशिक्षण का स्टेटस भी जांचा और परखा जाएगा। इस बाबत राज्य शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद (एससीईआरटी) के निदेशक सर्वेद्र विक्रम बहादुर सिंह ने डायट प्राचार्यो को निर्देश जारी कर दिए हैं। शिक्षा की गुणवत्ता को बेहतर बनाने के उद्देश्य से प्रदेश भर में तकरीबन 75 जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान (डायट) स्थापित हैं। इसके अलावा तकरीबन पांच सौ निजी बीटीसी प्रशिक्षण संस्थान भी संचालित हैं। यहां प्रशिक्षण लेने के बाद शिक्षक परिषदीय विालयों में पढ़ाने के लिए भेजे जाते हैं। लेकिन अधिकारियों के निरीक्षण में अक्सर देखा गया है कि शिक्षक नियमित रूप से स्कूल नहीं पहुंचते हैं। बहुत से विद्यालय ऐसे भी हैं जिनके बच्चे ठीक से अपना नाम तक नहीं लिख पाते। इसलिए अब डायट व निजी बीटीसी कॉलेजों में प्रशिक्षण ले रहे मास्साब को रोजाना समय से स्कूल पहुंचने और छात्र-छात्राओं पढ़ाने की शपथ ग्रहण कराई जाएगी। उन्हें इस बात की भी शपथ लेनी होगी कि वह बच्चों के शैक्षिक स्तर को बढ़ाएंगे। उधर राज्य सरकार ने डायटों व निजी बीटीसी कॉलेजों में पढ़ाई सुधारने का फैसला किया है। अब इन संस्थानों में पठन पाठन की भी जांच की कराई जाएगी। क्योंकि कुछ डायट एवं निजी संस्थानों को छोड़ दिया जाए तो ज्यादातर में पठन-पाठन की स्थिति अच्छी नहीं है। सूत्रों के अनुसार कई निजी बीटीसी कॉलेजों में प्रशिक्षण के नाम पर खानापूर्ति की जाती है तो डायट संस्थानों में प्रशिक्षु शिक्षकों को पढ़ाने के लिए पर्याप्त प्रवक्ता तक नहीं हैं।
- डायटों में बायोमैट्रिक उपस्थिति हुई अनिवार्य,तैयार होगा एकेडमिक प्लान
शिक्षकों एवं छात्रों की उपस्थिति सुनिश्चित कराने के लिए डायटों में
बायोमैट्रिक डिवाइस लगाना भी अनिवार्य कर दिया गया है। इन संस्थानों में
दिए जा रहे प्रशिक्षण, कक्षा-शिक्षण आदि से संबंधित 10 मिनट की एक फिल्म भी
तैयार की जाएगी। जनपद में की जा रही शैक्षिक एवं प्रशिक्षण गतिविधियों को
वेबसाइट पर भी प्रदर्शित किया जाएगा। प्रत्येक डायटों को अपना एकेडमिक
डवलपमेंट प्लान तैयार करना अनिवार्य होगा और उसी के सापेक्ष काम करना होगा।
डायटों में वीडियो काफ्रेंसिंग की व्यवस्था की जाएगी। भाषा, गणित,
अंग्रेजी और विज्ञान आदि विषय के शिक्षकों के प्रशिक्षण पर विशेष जोर दिया
जाएगा। (साभार-:-डेली न्यूज एक्टिविस्ट)
डायटों में बायोमैट्रिक उपस्थिति हुई अनिवार्य
Reviewed by Brijesh Shrivastava
on
8:20 AM
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1 comment:
kya koi aisi website h jis sare up k teachers aur skul ki detail mil sake
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