रिक्त पदों पर पदोन्नति हेतु एक वर्ष की शिथिलता प्रदान किये जाने के संबंध में आदेश : यदि पद हैं रिक्त तो शिक्षकों को अब चार साल में मिलेगी पदोन्नति
- पत्र निर्गत होने की तिथि को जिन अध्यापकों का 4 वर्ष का शिक्षण अनुभव पूरा हो व जनपद में पद रिक्त हों, ऐसे अध्यापकों की पदोन्नति 30 अप्रैल 2015 तक करने के निर्देश।
- उच्च प्राथमिक विद्यालयों में गतिमान विज्ञान/गणित अध्यापकों की सीधी भर्ती हेतु जनपद को आवंटित पदों को छोड़ते हुये शेष पदों पर पदोन्नति करने के निर्देश।
- प्रत्येक पूर्व माध्यमिक विद्यालय में एक विज्ञान अध्यापक रखने के निर्देश।
- परिषदीय विद्यालयों के शिक्षकों को चार साल में मिलेगी पदोन्नति
- बेसिक शिक्षा परिषद के सचिव संजय सिन्हा ने जारी किया आदेश
परिषदीय विद्यालयों में खाली पदों पर शैक्षिक अनुभव होने के बाद पदोन्नति के लिए अब शिक्षकों को पांच साल का अनुभव होने तक इंतजार नहीं करना पड़ेगा। बेसिक शिक्षा परिषद ने शैक्षिक अनुभव पांच साल होने के नियम में छूट दी है। अब शिक्षकों को चार साल के शैक्षिक अनुभव में पदोन्नति मिल सकेगी। इस संबंध में परिषद के सचिव संजय सिन्हा ने बेसिक शिक्षा अधिकारियों को आदेश जारी कर दिए हैं। अभी तक प्राथमिक और पूर्व माध्यमिक विद्यालय में सहायक अध्यापक के खाली पड़े पदों पर शिक्षकों की पदोन्नति के लिए शैक्षिक अनुभव पांच साल का होना अनिवार्य है। इसके तहत खाली पद होने पर भी शैक्षिक अनुभवन पांच साल का पूरा न होने की वजह से शिक्षकों की पदोन्नति नहीं हो पा रही है।
खबर साभार : डीएनए |
लेकिन अब ऐसा नहीं होगा। जिन शिक्षकों का शिक्षण अनुभव चार वर्ष पूरा हो चुका है और जनपद में रिक्तियां उपलब्ध हैं। ऐसे शिक्षकों को एक वर्ष की छूट प्रदान की जाएगी। परिषद केसचिव संजय सिन्हा ने निर्देश दिए हैं कि जनपद में उपलब्ध रिक्तियों को दृष्टिगत रखते हुए उच्च प्राथमिक विद्यालय में विज्ञान-गणित विषय के सहायक अध्यापकों के लिए आवंटित पदों को छोड़कर शेष पदों पर पदोन्नति की कार्यवाही 30 अप्रैल तक अवश्य कर ली जाए। इसमें पूर्णतया पारदर्शिता बरती जाए। जिनके खिलाफ किसी भी प्रकार की अनुशासनात्मक कार्यवाही चल रही है उनकी पदोन्नति न की जाए। प्रत्येक पूर्व माध्यमिक विद्यालय में एक विज्ञान अध्यापक रखा जाना अनिवार्य होगा।
प्राइमरी स्कूलों में सहायक अध्यापक पदों पर सीधी भर्तियां होती हैं। पांच साल की सेवा पूरी करने पर शिक्षकों को प्राइमरी में प्रधानाध्यापक या उच्च प्राइमरी में सहायक अध्यापक बनाया जाता है। सचिव बेसिक शिक्षा परिषद ने पदोन्नति में पांच साल की अनिवार्यता समाप्त करते हुए चार साल इसलिए किया गया है जिससे प्राइमरी स्कूलों में सहायक अध्यापक के पद रिक्त होने के बाद उस पर शिक्षा मित्रों को समायोजित किया जा सके। सचिव बेसिक शिक्षा परिषद ने कहा है कि पदोन्नति प्रक्रिया में पूरी पारदर्शिता बरती जाएगी।
- शिक्षकों को अब चार साल पर ही दी जाएगी पदोन्नति
- गणित व विज्ञान शिक्षक पदों पर नहीं होगी पदोन्नति
लखनऊ
(ब्यूरो)। परिषदीय स्कूलों के शिक्षकों को अब पांच साल के स्थान पर चार
साल पर ही पदोन्नति दी जाएगी। उच्च प्राथमिक विद्यालयों में गणित व विज्ञान
सहायक अध्यापक के पद पर पदोन्नति नहीं की जाएगी, क्योंकि इन पदों के लिए
भर्ती प्रक्रिया चल रही है। सचिव बेसिक शिक्षा संजय सिन्हा ने बेसिक शिक्षा
अधिकारियों को निर्देश भेजते हुए पदोन्नति प्रक्रिया 30 अप्रैल तक हरहाल
में पूरी करने का निर्देश दिया है।
प्राइमरी स्कूलों में सहायक अध्यापक पदों पर सीधी भर्तियां होती हैं। पांच साल की सेवा पूरी करने पर शिक्षकों को प्राइमरी में प्रधानाध्यापक या उच्च प्राइमरी में सहायक अध्यापक बनाया जाता है। सचिव बेसिक शिक्षा परिषद ने पदोन्नति में पांच साल की अनिवार्यता समाप्त करते हुए चार साल इसलिए किया गया है जिससे प्राइमरी स्कूलों में सहायक अध्यापक के पद रिक्त होने के बाद उस पर शिक्षा मित्रों को समायोजित किया जा सके। सचिव बेसिक शिक्षा परिषद ने कहा है कि पदोन्नति प्रक्रिया में पूरी पारदर्शिता बरती जाएगी।
खबर साभार : अमर उजाला |
रिक्त पदों पर पदोन्नति हेतु एक वर्ष की शिथिलता प्रदान किये जाने के संबंध में आदेश : यदि पद हैं रिक्त तो शिक्षकों को अब चार साल में मिलेगी पदोन्नति
Reviewed by Brijesh Shrivastava
on
5:31 AM
Rating:
No comments:
Post a Comment